
झारखंड में बढ़ती ठंड और शीतलहरी को देखते हुए जिला प्रशासन ने एहतियातन फैसला लिया है। भारत मौसम विज्ञान विभाग, मौसम विज्ञान केंद्र झारखंड (रांची) द्वारा जारी विशेष बुलेटिन के अनुसार राज्य में अगले आदेश तक भारी ठंड और शीतलहरी की चेतावनी दी गई है। रांची जिला को येलो जोन की श्रेणी में चिन्हित करते हुए ठंड के और अधिक असर की संभावना जताई गई है।
मौसम की इस स्थिति को ध्यान में रखते हुए भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की धारा-163 के तहत रांची जिला अंतर्गत संचालित सभी सरकारी, गैर-सरकारी एवं निजी विद्यालयों में केजी से 12वीं कक्षा तक पठन-पाठन का कार्य दिनांक 27 दिसंबर 2025 से 31 दिसंबर 2025 तक स्थगित करने का आदेश जारी किया गया है। इस अवधि के दौरान विद्यालयों में नियमित कक्षाएं संचालित नहीं होंगी।
जिला प्रशासन ने विद्यालय प्रबंधन को निर्देश दिया है कि वे आदेश का सख्ती से अनुपालन सुनिश्चित करें, ताकि विद्यार्थियों के स्वास्थ्य पर प्रतिकूल प्रभाव न पड़े। प्रशासन का मानना है कि अत्यधिक ठंड में छोटे बच्चों और किशोर छात्रों के बीमार होने की आशंका बढ़ जाती है, इसलिए यह निर्णय एहतियात के तौर पर लिया गया है।
हालांकि, जिन विद्यालयों में उक्त अवधि के दौरान पूर्व निर्धारित परीक्षाएं आयोजित होनी हैं, उन्हें इस आदेश से आंशिक छूट दी गई है। ऐसे विद्यालय अपने विवेकानुसार परीक्षा का संचालन कर सकते हैं, लेकिन इस दौरान छात्रों की सुरक्षा और सुविधा का विशेष ध्यान रखने का निर्देश दिया गया है।
प्रशासन ने अभिभावकों से भी अपील की है कि वे बच्चों को ठंड से बचाने के लिए आवश्यक सावधानियां बरतें और अनावश्यक रूप से घर से बाहर न निकलने दें।
बाल दिवस का आयोजन
झारखंड पब्लिक स्कूल, मोहन नगर, डकरा में शुक्रवार को वीर बाल दिवस श्रद्धा और उत्साह के साथ मनाया गया। कार्यक्रम की शुरुआत साहिबजादे फतेह सिंह एवं साहिबजादे जोरावर सिंह के चित्र पर पुष्प अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि देने के साथ की गई।
इस अवसर पर विद्यालय के प्रधानाध्यापक अभिषेक कुमार चौहान ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए वीर बाल दिवस के महत्व पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि साहिबजादों का बलिदान साहस, धर्मनिष्ठा और देशप्रेम का अनुपम उदाहरण है, जिससे हमें सत्य और आत्मबल के मार्ग पर चलने की प्रेरणा मिलती है।
कार्यक्रम के दौरान विद्यार्थियों के बीच वाद-विवाद प्रतियोगिता, चित्रकला प्रतियोगिता एवं खेलकूद प्रतियोगिता का आयोजन किया गया, जिसमें बच्चों ने बढ़-चढ़कर भाग लिया और अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन किया। प्रतियोगिताओं के माध्यम से विद्यार्थियों में देशभक्ति, रचनात्मकता और खेल भावना का विकास देखने को मिला।



