
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने ताइवान पर हमले को लेकर चीन को चेताया है और धमकी देते हुए कहा कि इसके गंभीर परिणाम होंगे। ट्रंप ने कहा कि जब तक वे राष्ट्रपति हैं, तब तक चीन, ताइवान पर हमला नहीं करेगा क्योंकि उन्हें पता है कि इसका परिणाम क्या होगा। गौरतलब है कि अमेरिका ताइवान पर चीन की सैन्य कार्रवाई के विरोध में है और खुलकर ताइवान को समर्थन देता है। इसके चलते अमेरिका और चीन के बीच गहरे मतभेद हैं।
ताइवान पर चीन की सैन्य कार्रवाई के सवाल पर ट्रंप का जवाब
सीबीएस के साथ एक इंटरव्यू में जब ट्रंप से पूछा गया कि अगर चीन, ताइवान के खिलाफ सैन्य कार्रवाई करता है तो क्या अमेरिका की सेना, ताइवान की रक्षा के लिए भेजी जाएगी? तो इसके जवाब में राष्ट्रपति ट्रंप ने कहा कि ‘आपको पता चल जाएगा कि क्या होगा। वह भी अच्छी तरह समझते हैं कि हमारा क्या जवाब होगा।’ माना जा रहा है कि यहां वह से ट्रंप का मतलब चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग से है। ट्रंप ने आगे कहा कि ‘ऐसा कल ही नहीं होने वाला और हो सकता है कि कभी न हो, क्योंकि वे जानते हैं और इसका असर को अच्छी तरह समझते भी हैं।’
अमेरिकी राष्ट्रपति ने इंटरव्यू ले रहे पत्रकार से कहा कि ‘आप सवाल पूछ रहे हैं इसका मतलब ये नहीं कि मैं आपको सबकुछ बता दूंगा, लेकिन वे (चीन) समझते हैं कि क्या होगा।’ गौरतलब है कि अमेरिकी राष्ट्रपति का यह बयान ऐसे समय आया है, जब हाल ही में दक्षिण कोरिया में चीन और अमेरिका के नेताओं की मुलाकात हुई, जिसमें दोनों देशों के बीच व्यापार समझौते पर सहमति बनी।
परमाणु हथियारों को लेकर दिया चौंकाने वाला बयान
इस इंटरव्यू में ट्रंप ने परमाणु परीक्षण को लेकर भी एक चौंकाने वाला बयान दिया। उन्होंने कहा कि ‘हमारे पास किसी भी देश की तुलना में बहुत ज्यादा परमाणु हथियार हैं और हमें परमाणु निरस्त्रीकरण के बारे में कुछ करना चाहिए। मैंने इस बारे में रूसी राष्ट्रपति पुतिन और चीनी राष्ट्रपति जिनपिंग से भी बात की। हमारे पास इतने परमाणु हथियार हैं, जो पूरी दुनिया को तबाह कर सकते हैं। रूस के पास भी बहुत सारे हैं और चीन के पास भी।’ ट्रंप ने कहा कि वे नहीं चाहते कि अमेरिका इकलौता देश हो, जो परमाणु परीक्षण न कर रहा हो।



