समरावता हिंसा: नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली ने घटना को बताया शर्मनाक

देवली-उनियारा की घटना पर बोलते हुए जूली ने इसे शर्मनाक बताया और कहा कि इस प्रकार की घटनाओं का राजस्थान में कोई स्थान नहीं होना चाहिए। उन्होंने ये बात जयपुर के सर्किट हाउस में मीडिया से मुखातिब होकर कही।

विधानसभा में प्रतिपक्ष के नेता टीकाराम जूली ने जयपुर के सर्किट हाउस में मीडिया से बातचीत में टोंक में हुए घटना की निंदा की। टोंक जिले के देवली-उनियारा की घटना पर बोलते हुए जूली ने इसे शर्मनाक बताया और कहा कि इस प्रकार की घटनाओं का राजस्थान में कोई स्थान नहीं होना चाहिए।

उन्होंने सरकार पर आरोप लगाया कि राज्य में बढ़ती हिंसा और सरकारी मशीनरी का दुरुपयोग गंभीर चिंता का विषय है। जूली ने सरकार से टोंक घटना की निष्पक्ष जांच की मांग की और कहा कि हिंसा के लिए राजस्थान में कोई स्थान नहीं होना चाहिए।

भाजपा सरकार पर गंभीर आरोप लगाए
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि राज्य की पूर्व कांग्रेस सरकार की कई जनकल्याणकारी योजनाओं को भाजपा ने बंद कर दिया है या उनमें कटौती कर दी है, जिससे आमजन पर आर्थिक बोझ बढ़ रहा है। जूली ने कहा कि कांग्रेस सरकार में मुख्यमंत्री बीमा योजना के तहत दुर्घटना होने पर 10,000 और बीपीएल परिवार के मुखिया की मृत्यु पर परिवार को 75,000 रुपये की सहायता राशि दी जाती थी, जिसे अब भाजपा सरकार ने बंद कर दिया है।

योजनाओं में कटौती और नाम परिवर्तन
टीकाराम जूली ने बताया कि कांग्रेस की चिरंजीवी योजना, इंदिरा आवास योजना, महात्मा गांधी प्रेरक, राजीव गांधी युवा मित्र, और अन्नपूर्णा किट जैसी योजनाओं को या तो बंद कर दिया गया है या इनमें भारी कटौती की गई है। उन्होंने कहा कि लगभग 15 योजनाओं के नाम बदले गए हैं, जबकि शहरी मनरेगा, बच्चों की स्कॉलरशिप और बेरोजगारी भत्ता जैसी योजनाओं को कमजोर किया गया है।

शिक्षा और जमीन के पट्टों पर भी उठाए सवाल
भाजपा सरकार की नीतियों पर सवाल उठाते हुए जूली ने कहा कि कांग्रेस सरकार के समय खोले गए नए कॉलेजों और इंग्लिश मीडियम स्कूलों को जारी रखने को लेकर सरकार की कोई स्पष्ट नीति नहीं है। इसके साथ ही, कांग्रेस सरकार के दौरान गरीबों को ₹500 में दिए गए जमीन के पट्टों की दरें भी बढ़ा दी गई हैं, जिससे गरीब परिवारों को मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है।

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