
कर्नाटक में पीएम मोदी के बंगलूरू मेट्रो येलो लाइन प्रोजेक्ट के लोकार्पण करने को लेकर कर्नाटक सरकार के मंत्री प्रियांक खरगे ने भाजपा पर हमला बोला है। प्रियांक खरगे ने कहा कि भाजपा ने प्रोजेक्ट के श्रेय को हड़प लिया है। यह मेट्रो परियोजना मनमोहन सिंह के नेतृत्व वाली यूपीए सरकार के तहत शुरू की गई थी और इसमें राज्य सरकार का योगदान पीएम मोदी के नेतृत्व वाली एनडीए सरकार से ज्यादा है।
एक्स पर पोस्ट में प्रियांक खरगे ने कहा कि मैं येलो लाइन मेट्रो के उद्घाटन के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का कर्नाटक में स्वागत करता हूं। जहां भाजपा येलो लाइन के दूसरे चरण का श्रेय हड़पकर वोट चोरी से क्रेडिट चोरी पर ध्यान केंद्रित करने की कोशिश कर रही है, वहीं सच्चाई सामने आनी चाहिए। मेट्रो परियोजना डॉ. मनमोहन सिंह के नेतृत्व वाली यूपीए सरकार के तहत शुरू की गई थी। पहले चरण में यूपीए सरकार ने लागत का एक बड़ा हिस्सा वहन किया, जो राज्य सरकार के योगदान से कहीं ज्यादा था।
उन्होंने कहा कि भाजपा के सत्ता में आने के बाद परियोजना के प्रति उनकी प्रतिबद्धता कम होती गई और बाद में केंद्र सरकार की हिस्सेदारी में भारी कमी आई। इस बीच कर्नाटक सरकार ने ₹12,000 करोड़ से अधिक का योगदान देते हुए भूमि अधिग्रहण लागत और अतिरिक्त खर्चों को कवर करते हुए ज्यादातर खर्च उठाया है। जबकि केंद्र सरकार ने मात्र 8,000 करोड़ रुपये दिए हैं। वह अपनी जिम्मेदारियों से बच रही है। समर्थन की कमी के कारण बीएमआरसीएल को परियोजना की शेष लागतों को पूरा करने के लिए ऋण लेना पड़ा।
मंत्री खरगे ने अर्थव्यवस्था में राज्य के योगदान और केंद्र द्वारा राज्य को आवंटित धन के बीच असमानता पर भी बात की। खरगे ने कहा कि केंद्र को कर्नाटक का योगदान साल-दर-साल बढ़ता जा रहा है, लेकिन राज्य को मिलने वाला लाभ कम होता जा रहा है। मेट्रो येलो लाइन परियोजना इसका उदाहरण है।
पीएम मोदी पहुंचे बंगलूरू
पीएम मोदी बंगलूरू पहुंच गए हैं। वे यहां बंगलूरु मेट्रो चरण-2 परियोजना की आरवी रोड (रागीगुड्डा) से बोम्मासंद्रा तक येलो लाइन का उद्घाटन करेंगे। इस लाइन की लंबाई 19 किलोमीटर से ज़्यादा है और इसमें 16 स्टेशन हैं, जिसकी लागत लगभग 7,160 करोड़ रुपये है। इस येलो लाइन के खुलने से बंगलुरु में मेट्रो का परिचालन नेटवर्क 96 किलोमीटर से ज़्यादा हो जाएगा, जो इस क्षेत्र की एक बड़ी आबादी को सेवा प्रदान करेगा।