
ओडिशा पुलिस की अपराध शाखा ने कड़ोरो रुपये के खनन घोटाला के मामले में बीजद नेता राजा चक्र को गिरफ्तार कर लिया है। मामले में पुलिस अधिकारी ने बताया कि चक्र से पूछताछ की गई और उनके द्वारा घोटाले में की गई भूमिका को स्पष्ट करने के लिए कहा गया, जिसके बाद उन्हें गिरफ्तार किया गया है।
ओडिशा से एक बड़ी खबर सामने आ रही है। जहां ओडिशा पुलिस की अपराध शाखा ने गुरुवार को बीजू युवा जनता दल (बीजेडी) के प्रदेश उपाध्यक्ष सौम्य शंकर चक्र उर्फ राजा चक्र को करोड़ों रुपये के खनन और परिवहन घोटाले के सिलसिले में गिरफ्तार किया। यह गिरफ्तारी उड़ीसा उच्च न्यायालय द्वारा उनकी गिरफ्तारी से अंतरिम संरक्षण की मांग वाली याचिका को खारिज करने के बाद की गई। मामले में अपराध शाखा के अतिरिक्त डीजीपी सीआईडी विनयतोष मिश्रा ने बताया कि चक्र से पूछताछ की गई और उनके द्वारा घोटाले में की गई भूमिका को स्पष्ट करने के लिए कहा गया, जिसके बाद उन्हें गिरफ्तार किया गया है।
बता दें कि अपराध शाखा की आर्थिक अपराध शाखा ने फरवरी 2025 में क्योंझर जिले में खनिज से समृद्ध गंधमर्दन लोडिंग (जीएमएल) एजेंसी और एक परिवहन सहकारी समिति लिमिटेड के कामकाज में अनियमितताओं और धन के दुरुपयोग की शिकायत के आधार पर जांच शुरू की थी। यह सहकारी समिति खनन गतिविधियों से प्रभावित ग्रामीणों के कल्याण के लिए बनाई गई थी।
जांच में ये बड़ी बातें आई सामने
वहीं मामले में अधिक जानकारी देते हुए एडीजीपी ने बताया कि जांच में पता चला कि 2017-18 से लेकर 24 मार्च तक, लोडिंग एजेंसी ने करीब 185 करोड़ रुपये कमाए। साथ ही यह भी पता चला कि सहकारी समिति के अध्यक्ष और सचिव ने कुछ प्रभावशाली व्यक्तियों की मदद से बड़ी रकम की ठगी की थी।
उन्होंने बताया कि इस घोटाले में परिधीय विकास के नाम पर 34 करोड़ रुपये ले लिए गए, लेकिन कोई काम नहीं हुआ। वहीं, 9.1 करोड़ रुपये का भुगतान एक पेट्रोल पंप को किया गया, जो जीएमएल को ईंधन नहीं दे रहा था, बल्कि वह सौम्य शंकर चक्र के वाहनों को ईंधन दे रहा था, जिसके भुगतान का खर्च जीएमएल ने किया।
क्राइम ब्रांच ने किया खुलासा
इसके अलावा, जांच में यह भी सामने आया कि लगभग 33 करोड़ रुपये सहकारी समिति के सदस्य माने गए स्थानीय ग्रामीणों को वितरित किए गए थे। क्राइम ब्रांच ने यह भी बताया कि लोडिंग चार्ज और लेबर पेमेंट के रूप में करीब 74 करोड़ रुपये का खर्च दिखाया गया था, लेकिन मस्टर रोल और वाउचर में भारी अंतर पाया गया। इस पूरे मामले का ऑडिट कराने का निर्णय लिया गया है, जिसके बाद और भी गबन का खुलासा हो सकता है।
साथ ही जांच के दौरान यह भी पाया गया कि हालांकि राजा चक्र का कागजों में सहकारी समिति से कोई संबंध नहीं था, लेकिन वह अपने सहयोगियों के जरिए इस घोटाले में शर्तें तय कर रहा था। जहां अब तक क्राइम ब्रांच ने राजा चक्र के 42 वाहनों को जब्त कर लिया है और कई बैंक खातों को फ्रीज कर दिया है।